PROVERBS
Chapter 23
Prov | UrduGeoD | 23:1 | अगर तू किसी हुक्मरान के खाने में शरीक हो जाए तो ख़ूब ध्यान दे कि तू किसके हुज़ूर है। | |
Prov | UrduGeoD | 23:5 | एक नज़र दौलत पर डाल तो वह ओझल हो जाती है, और पर लगाकर उक़ाब की तरह आसमान की तरफ़ उड़ जाती है। | |
Prov | UrduGeoD | 23:7 | क्योंकि यह गले में बाल की तरह होगा। वह तुझसे कहेगा, “खाओ, पियो!” लेकिन उसका दिल तेरे साथ नहीं है। | |
Prov | UrduGeoD | 23:8 | जो लुक़मा तूने खा लिया उससे तुझे क़ै आएगी, और तेरी उससे दोस्ताना बातें ज़ाया हो जाएँगी। | |
Prov | UrduGeoD | 23:10 | ज़मीन की जो हुदूद क़दीम ज़माने में मुक़र्रर हुईं उन्हें आगे पीछे मत करना, और यतीमों के खेतों पर क़ब्ज़ा न कर। | |
Prov | UrduGeoD | 23:17 | तेरा दिल गुनाहगारों को देखकर कुढ़ता न रहे बल्कि पूरे दिन रब का ख़ौफ़ रखने में सरगरम रहे। | |
Prov | UrduGeoD | 23:22 | अपने बाप की सुन जिसने तुझे पैदा किया, और अपनी माँ को हक़ीर न जान जब बूढ़ी हो जाए। | |
Prov | UrduGeoD | 23:24 | रास्तबाज़ का बाप बड़ी ख़ुशी मनाता है, और दानिशमंद बेटे का वालिद उससे लुत्फ़अंदोज़ होता है। | |
Prov | UrduGeoD | 23:25 | चुनाँचे अपने माँ-बाप के लिए ख़ुशी का बाइस हो, ऐसी ज़िंदगी गुज़ार कि तेरी माँ जशन मना सके। | |
Prov | UrduGeoD | 23:29 | कौन आहें भरता है? कौन हाय हाय करता और लड़ाई-झगड़े में मुलव्वस रहता है? किस को बिलावजह चोटें लगती, किसकी आँखें धुँधली-सी रहती हैं? | |
Prov | UrduGeoD | 23:31 | मै को तकता न रह, ख़ाह उसका सुर्ख़ रंग कितनी ख़ूबसूरती से प्याले में क्यों न चमके, ख़ाह उसे बड़े मज़े से क्यों न पिया जाए। | |
Prov | UrduGeoD | 23:34 | तू समुंदर के बीच में लेटनेवाले की मानिंद होगा, उस जैसा जो मस्तूल पर चढ़कर लेट गया हो। | |